फ्रेंच ओपेन की चैम्पियन बनीं ऑस्ट्रेलिया की एश्ले बार्टी
ऑस्ट्रेलिया की एश्ले बार्टी ने चेक गणराज्य की मार्केला वेंडरूसोवा को 6-1, 6-3 से हराकर फ्रेंच ओपन का खिताब अपने नाम कर लिया है. 23 साल की पूर्व क्रिकेटर ने पहली बार फाइनल में पहुंची मार्केला वेंडरूसोवा को मात दी है. बार्टी साल 1973 के बाद पहली बार ऑस्ट्रेलिया को यह खिताब दिलवाने में कामयाब रही हैं. फ्रेंच ओपेन के फाइनल में यह उनकी पहली जीत है.
बारिश की वजह से खेल करीब डेढ़ घंटे की देर से शुरू हुआ.
आठवीं वरीयता एशले बार्टी ने जीत के बाद कहा कि नर्वस होने के बावजूद उन्होंने एक परफेक्ट मैच खेला है.
उन्होंने कहा, ‘‘ यह अविश्वसनीय है, इसे बयां करने के लिए मेरे पास शब्द नहीं है. मैंने आज अच्छा खेल दिखाया. मुझे खुद पर और अपनी टीम पर बहुत गर्व है, पिछले दो सप्ताह अविश्वसनीय रहे हैं.’’
इस जीत के साथ ही बार्टी 46 साल बाद फ्रेंच ओपन का खिताब जीतने वाली पहली ऑस्ट्रेलियाई खिलाड़ी बन गयी. इससे पहले 1973 में मार्गेट कोर्ट पेरिस में चैम्पियन बनने वाली आस्ट्रेलियाई खिलाड़ी थीं।
तेईस वर्षीय बार्टी ने महज 70 मिनट में एकतरफा खिताबी मुकाबले को 6-1, 6-3 से अपने नाम किया.
बार्टी को इस जीत का फायदा उनकी रैंकिग में भी मिलेगा. वह अगले सप्ताह जारी होने वाली रैंकिंग में जापान की नाओमी ओसाका के बाद दूसरे स्थान पर पहुंच जाएंगी.
वह 1976 में इवोन गुलागोंग कावली के बाद सर्वश्रेष्ठ रैंकिग हासिल करने वाली ऑस्ट्रेलियाई खिलाड़ी बन जायेंगी.
बार्टी ने 19 साल की वेंडरूसोवा के खिलाफ 27 विनर लगाये जबकि विश्व रैंकिंग में 38वें स्थान पर काबिज खिलाड़ी ने 22 सहज गलतियों के मुकाबले सिर्फ 10 विनर लगाये.
मैच गंवाने के बाद मार्केला वेंडरूसोवा ने कहा, ‘‘आपको और आपकी टीम को बधाई, आपने मुझे सबक दिया. भले ही मुझे आज जीत नहीं मिली, लेकिन मैं वास्तव में खुश हूं.’’
बार्टी ने 2015 में पेशेवर क्रिकेट खेलने के लिए टेनिस छोड़ दिया था लेकिन उन्होंने फिर इस खेल में वापसी की है.
19 साल की वोंडरूसोवा ने सेमीफाइनल में ब्रिटेन की जोहन्ना कोन्टा को 7-5, 7-6 (7/2) से हराकर फाइनल में जगह बनाई थी. वहीं बार्टी ने अमेरिका की 17 साल की अमांडा अनिसिमोवा को 6-7(4), 6-3, 6-3 से हराकर पहली बार फाइनल में पहुंचने में कामयाबी हासिल की थी.