बोलीविया राष्ट्रपति चुनाव: ओपिनियन पोल में वामपंथी उम्मीदवार इवो मोरेल्स आगे
Prensa Latina
बोलीविया में आगामी राष्ट्रपति चुनाव को लेकर विपक्षी पार्टी का समर्थन करने वाले एक ऑउटलेट एल डेबर द्वारा प्रकाशित ओपिनियन पोल में सत्ताधारी वामपंथी राष्ट्रपति इवो मोरेल्स को उनके निकटतम प्रतिद्वंदी से 11 प्रतिशत वोटों से आगे दिखाया गया है. हालांकि, इस पोल में उन्हें प्रथम दौर के लिए जरूरी जीत के आंकड़े से काफी पीछे भी बताया गया है.
21 जुलाई की रात में प्रकाशित हुए इस ओपिनियन पोल में ‘मूवमेंट टूवर्ड्स सोशलिज्म’ के इवो मोरेल्स को 37 प्रतिशत मत के साथ पहले, विपक्षी दल ‘सिटिजन्स कम्युनिटी’ के नेता कार्लोस मेसा को 26 प्रतिशत मत के साथ दूसरे और ‘बोलिविया से नो’ के ऑस्कर ऑर्टिज को नौ प्रतिशत मत के साथ तीसरे स्थान पर दिखाया गया है. वहीं दूसरे निर्गुट प्रत्याशियों को भी एक से दो प्रतिशत तक मिले हैं. इस प्रकार के अनिर्णीत मत का प्रतिशत 18 है.
इस सर्वे में क्षेत्रवार ब्यौरा पेश किया गया है. इसके अनुसार देश के नौ में से छह क्षेत्रों में मोरेल्स को जीत मिली है. इन छह क्षेत्रों में 55 प्रतिशत मत के साथ कोचाबांबा में मोरेल्स को सबसे प्रचंड जीत मिली है.
ओपिनियन पोल में यह भी कहा गया है कि अगर मुकाबला सिर्फ दो तरफा होता तो इवो मोरेल्स 40 प्रतिशतल मत के साथ पहले और कार्लोस मेसा 38 प्रतिशत मत के साथ दूसरे स्थान पर रहते.
इस ओपिनियन पोल पर टिप्पणी करते हुए बोलीविया के उप-राष्ट्रपति अल्वारो ग्रेसिया लिनेरा ने कहा कि अगर अनिर्णीत वोट का बंटवारा सही तरीके से हो तो इवो पहले दौर में जीत हासिल कर लेंगे.
बोलीविया की चुनावी व्यवस्था के तहत पहले दौर में जीत हासिल करने के लिए प्रत्याशी को या तो 50 प्रतिशत मत चाहिए अथवा 40 प्रतिशत. दूसरी स्थिति में प्रत्याशी का अपने निकटतम प्रतिद्वंदी से मत प्रतिशत अंतर 10 होना चाहिए.
अल्वारो ग्रेसिया ने मोरेल्स के आगे रहने पर भी टिप्पणी करते हुए कहा कि ‘मूवमेंट टूवर्ड्स सोशलिज्म’ एक राष्ट्रीय पार्टी है, यह ना तो हड़बड़ी में तैयार की गई पार्टी है और ना ही यह विफल नेताओं का समूह है.
उन्होंने कहा कि इवो मोरेल्स हमेशा से एक मजबूत नेता रहे हैं, एकलौते वही हैं जिनके पास एक विजन है.
उन्होंने आगे कहा कि बाकी सभी लोग बस किसी तरह खुद को घसीट रहे हैं और जनता यह बात जानती है, जनता जानती है कि हमने कल्याणकारी योजनाएं बनाई हैं, हमने रोजगार पैदा किया है और हम लोगों को गरीबी से बाहर निकालते हैं.
दूसरी तरफ दक्षिणपंथी पार्टी के नेता कार्लोस मेसा पार्टी के बहुत से प्रतिनिधियों द्वारा इस्तीफा देने के बाद पार्टी की अंदरूनी कलह और दूसरे विवादों में फंसे हुए हैं. अपने चुनावी प्रचार के लिए खर्च किए जा रहे धन के स्रोत्र का संतुष्टिदायक जबाव ना दे पाने की वजह से उनके ऊपर अमेरिका से पैसे लेने का भी आरोप है.
हालांकि, इवो मोरेल्स अपने निकटतम प्रतिद्वंदी से बहुत आगे हैं, लेकिन इस बार उनका मत प्रतिशत पिछली बार के उन मत प्रतिशतों से बहुत कम है, जिनमें वे 50 प्रतिशत मत अर्जित कर पहले दौर में ही विजेता बने.