पुलवामा हमले के बाद डर के साए में जी रहे हैं कश्मीरी छात्र
Twitter
पुलवामा आतंकी हमले के बाद कश्मीरी छात्रों को कथित तौर पर धमकाने की खबरों के बाद नई दिल्ली में कश्मीरी छात्रों ने अपनी सुरक्षा को लेकर चिंता जाहिर की है. पुलिस ने कहा है कि सुरक्षा व्यवस्था बढ़ा दी गई और सभी नागरिकों की सुरक्षा सुनिश्चित की जाएगी.
मीडिया में आई खबरों के अनुसार जम्मू-कश्मीर के बाहर रहने वाले कई कश्मीरियों ने पुलवामा में हुए आतंकी हमले के बाद उन्हें प्रताड़ित किए जाने और उनपर हमले किए जाने का दावा किया है.
14 फरवरी को पुलवामा जिले में हुए आतंकी हमले में सीआरपीएफ के 40 जवान शहीद हो गए थे.
‘जामिया मिल्लिया इस्लामिया’ के एक कश्मीरी छात्र ने कहा, ‘‘ महज इसलिए कि कोई व्यक्ति कश्मीरी है, चाहे उसकी विचारधारा या झुकाव कुछ भी हो, उसके जीवन को जोखिम में डालने के लिए यह पर्याप्त है. यह पूरे देश में हो रहा है. देहरादून, अंबाला या बेंगलुरू, हर जगह कश्मीरी छात्रों को प्रताड़ित किया जा रहा है और उन्हें निशाना बनाया जा रहा है.’’
कश्मीर के निवासी और जेएनयू के एक छात्र ने कहा, ‘‘ पूरे भारत में भीड़ कश्मीरी छात्रों को निशाना बना रही है, उन्हें गालियां दे रही हैं, उन्हें निष्कासित करने की मांग कर रही है और उनके खिलाफ झूठे मामले दर्ज कर रही है. हर मामले में कहा जा रहा है कि उन्होंने (कश्मीरी छात्रों ने) ‘पाकिस्तान जिंदाबाद’ के नारे लगाए और यहां तक की पुलिस भी उनके इन झूठे दावों पर विश्वास कर रही है.”
जेएनयू की छात्रा शेहला ने कहा कि हमें भीड़ द्वारा छात्रों की पीट-पीटकर हत्या करने का अंदेशा है.
दिल्ली विश्वविद्यालय में पढ़ने वाले कश्मीरी छात्र अनीस अहमद ने कहा, ‘‘ हम सोशल मीडिया पर किए जाने वाले किसी भी दुर्व्यवहार पर प्रतिक्रिया नहीं दे रहे हैं. यहां तक कि अगर हमें आतंकवादी भी कहा जा रहा तो भी नहीं. जो छात्र हॉस्टल के बजाय किराए के मकान में रह रहे हैं, वे अपनी सुरक्षा को लेकर अधिक डरे हैं.”
पुलिस उपायुक्त मधुर वर्मा ने ट्वीट किया कि अल्पसंख्यक बहुल इलाकों सहित पूरी दिल्ली में सुरक्षा सख्त कर दी गई है.
उन्होंने कहा, ‘‘ पुलिस कर्मियों की तैनाती बढ़ा दी गई है. हम कश्मीर निवासी और दिल्ली में रहने वाले छात्रों सहित सभी नागरिकों की सुरक्षा सुनिश्चित करेंगे.”
गृह मंत्रालय ने भी सभी राज्यों और केंद्र शासित प्रदेशों को कश्मीरियों की सुरक्षा सुनिश्चित करने के उपायों के संबंध में एक परामर्श जारी किया था.
केंद्रीय बल हेल्पलाइन ‘सीआरपीएफ मददगार’ ने 16 फरवरी की रात ट्वीट किया, ‘‘ अभी कश्मीर से बाहर लोग कश्मीरी छात्र और आम जनता किसी भी परेशानी उत्पीड़न का सामना करने पर शीघ्र सहायता के लिए ‘सीआरपीएफ मददगार’ को चौबीसों घंटे टोल फ्री नंबर 1441 पर फोन कर सकते हैं या हमें 7082814411 पर एसएमएस कर सकते हैं.