बढ़ रहा है इंटरनेट का गलत इस्तेमाल: टिम बर्नर्स ली
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इंटरनेट को दुनिया में आए 30 साल हो गए हैं. अपने उदय से आज तक ये कहां पहुंचा किस तरह इसने समाज और लोकतंत्र में अपनी भूमिका निभाई? इस तरह के तमाम सवाल आज सबकी जबान पर हैं. सबसे महत्वपूर्ण सवाल निजता को लेकर उठ रहे हैं.
इंटरनेट के अविष्कारक टिम बर्नर्स ली ने बीते दिनों इस बारे में खुलकर अपने विचार रखे. ली ने कहा कि इंटरनेट प्रयोगकर्ता आजकल इसे लेकर बहुत खुश नहीं हैं. हालांकि उन्होंने कहा इसमें सुधार के लिए अभी देर नहीं हुई है.
इंटरनेट के दुरुपयोग की ओर इशारा करते हुए बर्नर्स ली ने कहा, “ट्रंप का आना और ब्रेग्जिट के दौरान हुए मतदान ने इंटरनेट प्रयोगकर्ताओं को एहसास दिलाया है कि इंटरनेट उतना बेहतर है नहीं जितना सोचा गया था, असल में ये ठीक से मानवता की सेवा नहीं कर पा रहा.”
टिम बर्नर्स ली जेनेवा स्थित सर्न प्रयोगशाला में संवाददाताओं को संबोधित कर रहे थे. इस दौरान उन्होंने सोशल मीडिया प्लेटफार्म के बारे में भी चर्चा की. उन्होंने कहा कि ये प्लेटफार्म लोकतंत्र में सहायक हैं या नहीं इसपर सवाल उठने लगे हैं.
इंटरनेट न्यूट्रिलिटी पर बात करते हुए उन्होंने कहा कि जो लोग इस माहौल में बड़े हुए हैं उनका ये अधिकार ताक पर रखने की कोशिश हो रही है. उन्होंने कहा कि अमेरिका हो यूरोपीय संघ हो या चीन, इंटरनेट पर नकेल कसने की भी कोशिश की जा रही है. ली ने इसके बुरे परिणाम की संभावना जताई.
टिम बर्नर्स ली ने एक खुला खत भी लिखा है. इस पत्र में उन्होंने कहा है कि ज्यादातर लोग वेब के भविष्य को लेकर आशंकित हैं. लेकिन उन्होंने कहा कि ये सोचना गलत होगा कि आने वाले 30 सालों में भी ये नहीं बदलेगा.
उन्होंने कहा, “अगर हम वेब को सुधारने का ख्याल छोड़ देते हैं, तब वेब फेल नहीं होगा बल्कि हम उसे फेल करेंगे.” ली ने कहा, “ये वेब की किशोर अवस्था से परिपक्वता और जिम्मेदारी की ओर यात्रा है.”
टिम ने फेसबुक की नीतियों के बारे में भी बात की. उन्होंने कहा कि फेसबुक एल्गोरिद्म की एडिटोरियल शक्तियां डरावनी हैं. लेकिन कंपनी इसे बड़ा सौदा समझती है. फेसबुक समेत अन्य कंपनियां उपयोगकर्ताओं को डेटा निकालने और उसको इधर-उधर करने के सिद्धांत पर यकीन करती है.