मुजफ्फरपुर शेल्टर होम मामले में पीड़ित बालिकाओं ने दिया ब्रजेश ठाकुर के खिलाफ बयान: सीबीआई


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  फाइल फोटो

मुजफ्फपुर बालिका गृह कांड में पीड़ित बालिकाओं ने मुख्य आरोपी ब्रजेश ठाकुर के खिलाफ बयान दिए हैं. सीबीआई ने ये बात दिल्ली की एक अदालत में कही है. इस मामले में आरोपी पर बलात्कार, अपहरण और चोट पहुंचाने के आरोप लगाए गए हैं.

आरोप तय करने के बाद सुनवाई के दौरान सीबीआई के वकील ने अदालत को बताया कि 33 पीड़ित बालिकाओं के बयान दर्ज किए गए हैं. वकील ने कहा कि इनमें से ज्यादातर ने ब्रजेश ठाकुर के खिलाफ बयान दिए हैं.

इसके अलावा सीबीआई की ओर से बताया गया कि ठाकुर लड़कियों का बलात्कार करने के लिए बाहर से लोगों को लाया करता था.

इस पर अदालत ने एजेंसी को निर्देश दिया कि पूरे मामले को बेहतर तरीके से समझने के लिए एक सारणी बनाई जाए. अदालत ने कहा कि सभी आरोपियों के अपराधों का अलग-अलग ब्योरा दिया जाए इसमें तारीख और स्थान का भी उल्लेख किया जाए.

उच्चतम न्यायालय ने सात फरवरी को यह मामला बिहार से यहां साकेत जिला अदालत परिसर में स्थित पॉस्को (यौन अपराधों से बच्चों का संरक्षण) अदालत को हस्तांतरित करने का आदेश दिया था.

इस घटना में बिहार के मुजफ्फरपुर स्थित बालिका गृह में कई लड़कियों से बलात्कार और यौन उत्पीड़न किया गया था. इस आश्रय गृह का संचालन ठाकुर का एक एनजीओ करता था. टाटा इंस्टीट्यूट ऑफ सोशल साइंसेज (टीआईएसएस) की एक रिपोर्ट के बाद यह मुद्दा प्रकाश में आया था.

जांच एजेंसी के मुताबिक ठाकुर के अलावा रवि रौशन (राज्य के समाज कल्याण विभाग अधिकारी) और रामानुज ठाकुर उर्फ मामू लड़कियों से छोटे कपड़ों में अश्लील गीतों पर डांस कराते थे.

सीबीआई ने कहा है कि दो बालिकाओं ने बालिका गृह से बाहर होटल में बलात्कार किए जाने की बात भी कही है.

एजेंसी ने आरोप लगाया है कि रोजी रानी (राज्य की समाज कल्याण विभाग अधिकारी) बालिका गृह में होने वाली इन हरकतों से वाकिफ थी.

इस मामले पर आगे की सुनवाई आगामी पांच मार्च को होगी.


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