वैलेंटाइन डे पर दिखे प्रेम के कई रंग
दुनियाभर के लोगों ने वैलेंटाइन डे को अपने रंग-ढ़ंग में और अनूठे अंदाज में मनाया. कोलकाता शहर में इस खास दिन रिक्शावालों को बैठाकर हाथ रिक्शा खिंचती हुई छात्राएं.
महिलाओं और बच्चों के खिलाफ होने वाली हिंसा के खिलाफ फिलीपींस के एक कॉलेज में वैलेंटाइन डे के दिन ‘वन बिलियन राइजिंग’ की सांतवी सालगिरह मनाती हुई शिक्षिका और छात्राएं.
यह तस्वीर शिमला की है. यहां के रिज मैदान में वैलेंटाइन डे सेलिब्रेट करते यंगस्टर्स.
वैलेंटाइन डे के मौके पर नशा के खिलाफ कुछ इस अंदाज में मुंबई के मैरीन ड्राइव पर कैंपेन करते नशामुक्ति कार्यकर्ता.
हर साल वैलेंटाइन डे पर यह नजारा अब आम है. बजरंग दल, शिव सेना जैसे संगठन इस रोज इसी रूप में नजर आते हैं. इनके निशाने पर आते हैं साथ घूमते युवक-युवतियां.
पिछले कुछ साल में रेस्तरां, सिनेमा हॉल और ग्रीटिंग कार्ड्स की दुकानों पर हमले हुए थे.
विरोधियों का कहना है कि वैलेंटाइन डे भारतीय संस्कृति का हिस्सा नहीं है. यह पश्चिमी सभ्यता से जुड़ा है, जिससे समाज दूषित होता है.
वैलेंटाइन डे संत वैलेंटाइन की याद में मनाया जाता है. संत वैलेंटाइन रोम के पादरी थे. सम्राट क्लॉडियस ने 14 फरवरी के ही दिन उन्हें फांसी पर चढ़ा दिया था. सम्राट क्लॉडियस प्रेम के खिलाफ़ था. क्लॉडियस मानता था कि विवाह करने से पुरुषों की शक्ति और बुद्धि कम होती है. संत वैलेंटाइन ने इसका विरोध किया. इससे क्लॉडियस ख़फा हो गया. संत वैलेंटाइन फांसी पर चढ़ा दिए गए. तब से वैलेंटाइन डे मनाया जाता है.